☆शौहर की ना फ़रमानी करना….
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और जिन औरतों की ना फ़रमानी का तुम्हें अन्देशा हो तो उन्हें समझाओ और उन से अलग सोओ और उन्हें मारो।
{النساء ٣٤}
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☆शौहर की ना फ़रमानी के मुतअल्लिक़ फरमाने मुस्तफा….
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{مسلم}
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☆नफ्लि रोज़े के लिये शौहर की इजाजत….
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{بخارى}
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अगर में अल्लाह के सिवा किसी और के लिये सजदा करने का हुक्म देता तो औरत को हुक्म देता कि वो अपने शौहर को सजदा करे।
{سنن كبرى للنساىٔى}
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{سنن كبرى للنساىٔى}
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••जो औरत (बिला इजाज़त) अपने शौहर के घर से निकले उस पर फ़रिश्ते लानत करते है हत्ता कि घर लौट आए या तौबा कर ले।
(مسلم)
(76 कबीरा गुनाह-147)
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